ये सोचकर अजय ने भी अपनी तरफ से उसे चूमना शुरू कर दिया और उसका हाथ सीधा उसकी ब्रेस्ट पर जा चिपका..और गाउन के नीचे ब्रा के ना होने के एहसास से ही अजय को पता चल गया की ये तो पहले से ही तैयार होकर बैठी हुई है.
अजय ने उसके गाउन की जीप खोल दी और उसकी उभरी हुई ब्रेस्ट की लकीरों को चूमने लगा..
प्राची : "अब चिंता नही है क्या तुम्हे अपनी साली की ....''
वो भी मज़े ले रही थी अजय से..
अजय : "वो देखती है तो देख ले...मैं अपनी बीबी को किस्स कर रहा हूँ ,किसी गैर को नही..''
अजय ने भी उसी टोन में कहा जिसमें प्राची ने वो बात कही थी..
और अजय के ऐसा कहते ही प्राची को ढेर सारा प्यार आ गया अपने पति पर...और उसने अपने गाउन को फेला कर अजय को अंदर घुसा लिया और अपनी मोटी छातियों से उसके चेहरे की मसाज करने लगी.
ठंडे-2 बूब्स के नर्म एहसास में आते ही अजय को ऐसा लगा की वो किसी जन्नत में आ गया है...वो भी अपनी आँखे बंद करके उस मसाज का मज़ा लेने लगा.
और इसी बीच पूजा कपड़े बदल कर बाहर आ गयी...आज वो जान बूझकर बिना ब्रा के टी शर्ट पहन कर आई थी...ताकि अपने खड़े हुए निप्पल अपने जीजू को दिखा कर थोड़े और मज़े ले सके..और साथ में केप्री पहनी हुई थी उसने..
पर बाहर निकलते ही, ड्रॉयिंग रूम में उसने जो दृश्य देखा , उसे देखकर वो ठिठक कर रह गयी..
उसकी बड़ी बहन प्राची अपने पति यानी अजय की गोद में बैठकर अपने स्तन उससे चुस्वा रही थी...
दोनो की पीठ थी उसकी तरफ,इसलिए वो पूजा को नही देख सकते थे...वो दबे पाँव वापिस अंदर गयी और दरवाजा थोड़ा सा खोलकर अंदर ही खड़ी हो गयी...पता नही क्या आया था उसके मन में , वो चाहती तो थोड़ी बहुत आवाज़ निकालकर उन्हे सचेत कर सकती थी और फिर दूसरे रूम में जाकर सो सकती थी..पर उसने ऐसा किया नही...शायद आज जिस तरह का एहसास अजय ने उसे दिया था,उसकी वजह से सेक्स के प्रति उसकी एक अलग ही रूचि बन चुकी थी...और ऐसे में अजय और प्राची को इस हालत में देखकर वो भी छुपकर देखने लगी की आगे क्या होता है.
पर अंदर ही अंदर उसे ये सब अक्चा नही लग रहा था...ठीक वैसी ही फीलिंग आ रही थी उसे जैसी तब आई थी जब अजय ने सोनी के पास जाने की बात बताई थी..वो दोनों ना मिल सके, यही सोचकर उसने किस्स के लिए हाँ करी थी..वो जलन, वो जेलिसी जो उस वक़्त सोनी से हुई थी पूजा को, अब प्राची से हो रही थी...
भले ही प्राची अजय की बीबी थी और सिर्फ़ उसका ही हक था उसपर...पर अजय के साथ पार्क में हुए एक्सपीरियेन्स की वजह से अब पूजा को भी लगने लगा था की उसका भी कोई हक़ है अजय पर...इसलिए उसे इस तरह अपनी बीबी के मुम्मे चूसते देखकर उसे बड़ा गुस्सा भी आ रहा था...पर उसने उनको देखना बंद नही किया..क्योंकि ये पहला मौका था जब वो किसी को ऐसा करते हुए देख रही थी.

अजय ने प्राची के स्तनों को अच्छी तरह से पीया और फिर वापिस उपर आकर उसके होंठों को चूसने लगा...प्राची का हाथ नीचे आकर अजय के खड़े हुए लंड को टटोल रहा था...दोनो ही जानते थे की वहाँ बैठकर इस समय कुछ भी करना संभव नही है, पर दोनो में से कोई रुक भी नही रहा था...अगर पूजा आज की रात उनके घर पर ना होती तो अजय ने अब तक उसे वहीं नंगी करके घोड़ी बना दिया होता और खुद भी नंगा होकर उसकी चुदाई करने मे लगा होता..पर पूजा की वजह से वो अपने कपड़े नही उतार रहे थे.
और उन दोनो को तो ये बात पता भी नही थी की जिसके डर से वो चूमा चाटी से ज़्यादा नही कर पा रहे है, वो पूजा बाथरूम मे छुपकर उन्हे ही देख रही थी...
पूजा को बेतहाशा चूमते-2 अजय ने अपना लंड पायजामे से निकालकर उसके हाथ में पकड़ा दिया...अजय का गर्म लंड हाथ में आते ही प्राची किसी नागिन की तरह फुफ्कारने लगी...अपनी चूत वाले हिस्से को अजय की जाँघ पर रगड़कर वो अपनी उत्तेजना का इज़हार सरेआम करने लगी..
अजय फुसफुसाया : "तेरी बहन ना होती ना इस समय घर पर, तो यही नंगा करके चोद देता तेरी चूत को...''
प्राची ने भी हुंकार भरते हुए कहा : "तुम कब से ऐसे डरने लग गये...तुम मर्दों को तो ये सब अक्चा लगता है की कोई तुम्हे सेक्स करते हुए देखे...है ना...''
प्राची की ये बात सुनकर अजय चोंक गया....आज से पहले प्राची ने ऐसी बात की ही नही थी..वो तो काफ़ी रिसर्व रहने वाली और अजय को भी कंट्रोल में रखकर चलने वाली औरत थी...ऐसा वो पहली बार बोल रही थी..
अजय ने भी सोचा की इसे कुरेद कर देखा जाए की ये किस हद तक आगे जाती है..
वो बोला : "मुझे डर इस बात से नही लग रहा की कोई हमें देख लेगा, बल्कि इस बात से लग रहा है की वो देखने वाली मेरी साली होगी...और अगर उसने मेरा लंबा लंड देख लिया तो उसका भी दिल आ जाएगा इसपर...''
उसने अपने लंड की तरफ इशारा करते हुए कहा..
अजय के ऐसा बोलते ही प्राची का लहज़ा बदल गया : "उसकी आँखे नोच लूँगी अगर मेरे पति के लंड की तरफ देखा भी तो...चाहे वो मेरी बहन ही क्यो ना हो...''
अजय ने अपना माथा पीट लिया...शायद आवेश में आकर वो कुछ ज़्यादा हो बोल गया था....वो बेचारा अब पछता रहा था की उसने इतना बाड़िया मौका ऐसे ही गँवा दिया..
उसने तुरंत बात को संभालते हुए कहा : "ओहो.....मुझे पता था की मेरी जान के लिए मेरा ये लंड कितना कीमती है...मैं तो बस मज़ाक कर रहा था...चलो अब...अंदर चलो...मुझसे अब रहा नही जा रहा ....''
प्राची भी बिना कुछ बोले उठ गयी और दोनो एक दूसरे को चूमते-2 अपने बेडरूम में चले गये.
बाथरूम के अंदर खड़ी पूजा ने वो सब सुन लिया था और वो हैरान हुए जा रही थी की किस तरह से प्राची ने उसके बारे में बोला...भले ही वो ऐसा कोई इरादा नही रखती थी..और हर कोई बीबी ऐसा ही कहेगी, पर फिर भी पूजा को अपनी सग़ी बहन से ऐसे बर्ताव की उम्मीद नही थी...और थोड़ी देर पहले जो ईर्ष्या की भावना उसके मन में आई थी, वो धीरे -2 नफ़रत के रंग में नहाने लगी...
उसने मन में निष्चय कर लिया की अब जो भी हो जाए, वो अजय को प्राची से छीनकर ही रहेगी...अपने जीजू को सोनी के चुंगल से निकालकर जो कॉन्फिडेंस पूजा में आया था, वो अभी तक बरकरार था, इसलिए उसे ये काम बड़ा ही आसान लग रहा था.
पर अभी के लिए वो उन दोनो का ये खेल भी देखना चाहती थी, जो खेलने के लिए दोनो अपने बेडरूम में गये थे...अब उसका दिमाग़ किसी जासूस की तरह चल रहा था,जो अपने शिकार की हर हरकत पर नज़र रखकर अपने अगले चरण की रूपरेखा बनाता है..
वो धीरे-2 चलती हुई उनके बेडरूम तक गयी, और हमेशा की तरह उनका दरवाजा सिर्फ़ बंद था, अंदर से लॉक नही.
और बीच के चीरे में से देखने पर उसे अंदर चल रही रास लीला पूरी तरह से दिखने लगी.
अजय ने प्राची के बूब्स को बाहर निकाल कर बुरी तरह से चूसना शुरू कर दिया था...और प्राची उसके बालों को पकड़कर उसके चेहरे को अपनी छातियों में उसे ऐसे घिस रही थी जैसे कोई खुजली मिटा रही हो..

अजय के हाथ हरकत में आए और उसने प्राची के गाउन को घुमाकर सिर से निकाल दिया.
और अब वो पूरी नंगी खड़ी थी अजय के सामने...

प्रेगनेंसी की वजह से हल्का सा पेट निकला हुआ था..बाकी सब पहले जैसा ही था.
अपनी बहन को ऐसे नंगा देखकर पूजा भी शरमाकर रह गयी...ये पहला मौका था जब उसने अपनी बहन को शादी के बाद ऐसे नंगा देखा था..शादी से पहले दोनों बहने अक्सर एक दूसरे के सामने कपड़े बदल लेती थी..पर उस समय दोनो ज़्यादा ध्यान नही देती थी एक दूसरे पर..
लेकिन उस वक़्त की प्राची और आज की प्राची में ज़मीन आसमान का फ़र्क आ चुका था..
उसके बूब्स पहले के मुक़ाबले काफ़ी बड़े और गोल हो चुके थे.

उसके निप्पल भी काफ़ी लंबे लग रहे थे पहले के मुक़ाबले...शायद खड़े होने की वजह से..
और उसकी गांड के तो क्या कहने...इतनी बाहर निकल चुकी थी की उसके गद्देदार होने का एहसास बाहर खड़ी पूजा को भी हो रहा था, क्योंकि वो ज़रा सी हिलती तो उसकी गांड की थिरकन दूर से ही दिखाई दे जाती...

और नीचे उसकी सफाचत और रसीली चूत, जिसमे से रस बहकर नीचे गिर रहा था , वो पहले से काफ़ी साफ़ सुथरी और बड़ी सी भी लग रही थी..

और शरीर के साथ -2 उसकी जांघे भी काफ़ी भर चुकी थी.
यानी कुल मिलाकर वो शादी के बाद पूरी तरह से खिल चुकी थी..
कली से फूल बन चुकी थी...
जिसपर जवानी का रंग बेमिसाल तरीके से चड़ा हुआ था.
पूजा सोचने लगी की क्या वो भी शादी के बाद ऐसी रसीली सी दिखने लगेगी...जब उसकी रोज चुदाई होगी...
और अगर उसने चुदाई पहले ही करनी शुरू कर दी तो....यानी उसके जीजू ने अगर उसकी चूत रोज इसी तरह से मारनी शुरू कर दी तो उसके जिस्म पर भी ऐसी जवानी की बहार आ जाएगी..
ये एहसास मिलते ही उसके बदन में सिहरन दौड़ गयी...और उसकी आँखो में लाल डोरे तैरने लगे.
पर अगले ही पल वो लाल डोरे और भी सुर्ख हो उठे,जब उसकी नज़र एक बार फिर से अजय के लंड पर गयी..
अजय भी अपने कपड़े निकाल कर नंगा हो चुका था, गुड लुकिंग तो वो था ही,उसका कसरती बदन देखकर पूजा की चूत में पानी की एक लकीर बाहर बह निकली...बिल्कुल पर्फेक्ट मेच था वो उसकी सेक्सी बहन के साथ...दोनो एक दूसरे को मात दे रहे थे..
एक ही दिन में दूसरी बार अपने जीजू के लंड के दर्शन करना कोई मामूली बात नही थी.
और उन्हे पूरा नंगा देखने का सोभाग्य उसे आज ही मिल जाएगा, ये भी उसने नही सोचा था.
उसकी नज़र जीजू के लंबे लॅंड के साथ-2 उनकी गांड पर भी थी...यानी अजय के चूतड़ों पर..जो काफ़ी आकर्षक लग रहे थे...उसने सोच लिया की वो जब भी अपने जीजू के साथ कुछ ऐसा - वैसा करेगी तो उनके गले से लगकर उनके चूतड़ ज़रूर दबाएगी. . ये शायद उसकी अनगिनत फैंटसी में से एक थी
पर अभी के लिए तो वो काम प्राची कर रही थी.
वो अजय को बेड के कोने पर बिठाकर खुद नीचे बैठ गयी और उसके खड़े हुए लंड को मुँह में लेकर जोरों से चूसने लगी.

अपनी बहन को अजय का लंड चूसते देखकर पूजा मुस्कुरा उठी...क्योंकि ये वही लंड था जो कुछ घंटे पहले उसके मुँह में था..और उसके इशारों पर नाच भी रहा था.
और साथ ही साथ पूजा अपनी बहन के लंड चूसने की प्रक्रिया देखकर दंग रह गयी...वो कितनी सफाई से और कितने अंदर तक अजय के लंड को निगल रही थी...एक तरह से देखा जाए तो कुछ नया सीखने को मिल रहा था आज पूजा को...और वो बड़े ही ध्यान से वो सब सीखने की कोशिश भी कर रही थी...क्योंकि आज नही तो कल उसे भी ऐसी कला का इस्तेमाल करके अपने पार्ट्नर को खुश करना पड़ेगा.
उसके दिमाग़ में एक बात आई की ये भी तो एक कला है जो लड़कियों को शादी से पहले सीखनी चाहिए...जैसे वो अपने ससुराल जाने से पहले खाना बनाना और दूसरे घरेलू काम सीखती है, उसी तरह ये काम भी सीखकर ही जाना चाहिए उन्हे, ताकि अपने जीवन का सबसे अहम धर्म ,यानी पति को खुश करने का काम, वो सही ढंग से निभा सके.
ये ख़याल आते ही उसे खुद ही अपनी सोच पर हँसी आ गयी.
अजय के लंड को चूसने के कुछ देर बाद दोनो ने अपनी सीट बदल ली...अब अजय ज़मीन पर घुटनो के बाल बैठा था और प्राची अपनी टांगे फेला कर उसके सामने लेटी हुई थी.

अजय की पेनी जीभ जैसे ही प्राची की चूत से टकराई, प्राची के साथ-2 पूजा के मुँह से भी सिसकारी निकल गयी...पूजा को तो ऐसा लगा की उसके जीजू की जीभ उसकी चूत को कुरेद रही है...उसने तुरंत अपनी चूत को अपने हाथों में दबोच लिया...जो इतनी गीली हो चुकी थी की उसे हाथ में लेते ही ऐसा लगा जैसे कोई चाशनी में डूबा कपड़ा निचोड़ दिया हो उसने...और नीचोड़ा गया गाड़ा रस उसकी उंगलियों से होता हुआ नीचे गिरने लगा.
cntd...........
अजय ने उसके गाउन की जीप खोल दी और उसकी उभरी हुई ब्रेस्ट की लकीरों को चूमने लगा..
प्राची : "अब चिंता नही है क्या तुम्हे अपनी साली की ....''
वो भी मज़े ले रही थी अजय से..
अजय : "वो देखती है तो देख ले...मैं अपनी बीबी को किस्स कर रहा हूँ ,किसी गैर को नही..''
अजय ने भी उसी टोन में कहा जिसमें प्राची ने वो बात कही थी..
और अजय के ऐसा कहते ही प्राची को ढेर सारा प्यार आ गया अपने पति पर...और उसने अपने गाउन को फेला कर अजय को अंदर घुसा लिया और अपनी मोटी छातियों से उसके चेहरे की मसाज करने लगी.
ठंडे-2 बूब्स के नर्म एहसास में आते ही अजय को ऐसा लगा की वो किसी जन्नत में आ गया है...वो भी अपनी आँखे बंद करके उस मसाज का मज़ा लेने लगा.
और इसी बीच पूजा कपड़े बदल कर बाहर आ गयी...आज वो जान बूझकर बिना ब्रा के टी शर्ट पहन कर आई थी...ताकि अपने खड़े हुए निप्पल अपने जीजू को दिखा कर थोड़े और मज़े ले सके..और साथ में केप्री पहनी हुई थी उसने..
पर बाहर निकलते ही, ड्रॉयिंग रूम में उसने जो दृश्य देखा , उसे देखकर वो ठिठक कर रह गयी..
उसकी बड़ी बहन प्राची अपने पति यानी अजय की गोद में बैठकर अपने स्तन उससे चुस्वा रही थी...
दोनो की पीठ थी उसकी तरफ,इसलिए वो पूजा को नही देख सकते थे...वो दबे पाँव वापिस अंदर गयी और दरवाजा थोड़ा सा खोलकर अंदर ही खड़ी हो गयी...पता नही क्या आया था उसके मन में , वो चाहती तो थोड़ी बहुत आवाज़ निकालकर उन्हे सचेत कर सकती थी और फिर दूसरे रूम में जाकर सो सकती थी..पर उसने ऐसा किया नही...शायद आज जिस तरह का एहसास अजय ने उसे दिया था,उसकी वजह से सेक्स के प्रति उसकी एक अलग ही रूचि बन चुकी थी...और ऐसे में अजय और प्राची को इस हालत में देखकर वो भी छुपकर देखने लगी की आगे क्या होता है.
पर अंदर ही अंदर उसे ये सब अक्चा नही लग रहा था...ठीक वैसी ही फीलिंग आ रही थी उसे जैसी तब आई थी जब अजय ने सोनी के पास जाने की बात बताई थी..वो दोनों ना मिल सके, यही सोचकर उसने किस्स के लिए हाँ करी थी..वो जलन, वो जेलिसी जो उस वक़्त सोनी से हुई थी पूजा को, अब प्राची से हो रही थी...
भले ही प्राची अजय की बीबी थी और सिर्फ़ उसका ही हक था उसपर...पर अजय के साथ पार्क में हुए एक्सपीरियेन्स की वजह से अब पूजा को भी लगने लगा था की उसका भी कोई हक़ है अजय पर...इसलिए उसे इस तरह अपनी बीबी के मुम्मे चूसते देखकर उसे बड़ा गुस्सा भी आ रहा था...पर उसने उनको देखना बंद नही किया..क्योंकि ये पहला मौका था जब वो किसी को ऐसा करते हुए देख रही थी.

अजय ने प्राची के स्तनों को अच्छी तरह से पीया और फिर वापिस उपर आकर उसके होंठों को चूसने लगा...प्राची का हाथ नीचे आकर अजय के खड़े हुए लंड को टटोल रहा था...दोनो ही जानते थे की वहाँ बैठकर इस समय कुछ भी करना संभव नही है, पर दोनो में से कोई रुक भी नही रहा था...अगर पूजा आज की रात उनके घर पर ना होती तो अजय ने अब तक उसे वहीं नंगी करके घोड़ी बना दिया होता और खुद भी नंगा होकर उसकी चुदाई करने मे लगा होता..पर पूजा की वजह से वो अपने कपड़े नही उतार रहे थे.
और उन दोनो को तो ये बात पता भी नही थी की जिसके डर से वो चूमा चाटी से ज़्यादा नही कर पा रहे है, वो पूजा बाथरूम मे छुपकर उन्हे ही देख रही थी...
पूजा को बेतहाशा चूमते-2 अजय ने अपना लंड पायजामे से निकालकर उसके हाथ में पकड़ा दिया...अजय का गर्म लंड हाथ में आते ही प्राची किसी नागिन की तरह फुफ्कारने लगी...अपनी चूत वाले हिस्से को अजय की जाँघ पर रगड़कर वो अपनी उत्तेजना का इज़हार सरेआम करने लगी..
अजय फुसफुसाया : "तेरी बहन ना होती ना इस समय घर पर, तो यही नंगा करके चोद देता तेरी चूत को...''
प्राची ने भी हुंकार भरते हुए कहा : "तुम कब से ऐसे डरने लग गये...तुम मर्दों को तो ये सब अक्चा लगता है की कोई तुम्हे सेक्स करते हुए देखे...है ना...''
प्राची की ये बात सुनकर अजय चोंक गया....आज से पहले प्राची ने ऐसी बात की ही नही थी..वो तो काफ़ी रिसर्व रहने वाली और अजय को भी कंट्रोल में रखकर चलने वाली औरत थी...ऐसा वो पहली बार बोल रही थी..
अजय ने भी सोचा की इसे कुरेद कर देखा जाए की ये किस हद तक आगे जाती है..
वो बोला : "मुझे डर इस बात से नही लग रहा की कोई हमें देख लेगा, बल्कि इस बात से लग रहा है की वो देखने वाली मेरी साली होगी...और अगर उसने मेरा लंबा लंड देख लिया तो उसका भी दिल आ जाएगा इसपर...''
उसने अपने लंड की तरफ इशारा करते हुए कहा..
अजय के ऐसा बोलते ही प्राची का लहज़ा बदल गया : "उसकी आँखे नोच लूँगी अगर मेरे पति के लंड की तरफ देखा भी तो...चाहे वो मेरी बहन ही क्यो ना हो...''
अजय ने अपना माथा पीट लिया...शायद आवेश में आकर वो कुछ ज़्यादा हो बोल गया था....वो बेचारा अब पछता रहा था की उसने इतना बाड़िया मौका ऐसे ही गँवा दिया..
उसने तुरंत बात को संभालते हुए कहा : "ओहो.....मुझे पता था की मेरी जान के लिए मेरा ये लंड कितना कीमती है...मैं तो बस मज़ाक कर रहा था...चलो अब...अंदर चलो...मुझसे अब रहा नही जा रहा ....''
प्राची भी बिना कुछ बोले उठ गयी और दोनो एक दूसरे को चूमते-2 अपने बेडरूम में चले गये.
बाथरूम के अंदर खड़ी पूजा ने वो सब सुन लिया था और वो हैरान हुए जा रही थी की किस तरह से प्राची ने उसके बारे में बोला...भले ही वो ऐसा कोई इरादा नही रखती थी..और हर कोई बीबी ऐसा ही कहेगी, पर फिर भी पूजा को अपनी सग़ी बहन से ऐसे बर्ताव की उम्मीद नही थी...और थोड़ी देर पहले जो ईर्ष्या की भावना उसके मन में आई थी, वो धीरे -2 नफ़रत के रंग में नहाने लगी...
उसने मन में निष्चय कर लिया की अब जो भी हो जाए, वो अजय को प्राची से छीनकर ही रहेगी...अपने जीजू को सोनी के चुंगल से निकालकर जो कॉन्फिडेंस पूजा में आया था, वो अभी तक बरकरार था, इसलिए उसे ये काम बड़ा ही आसान लग रहा था.
पर अभी के लिए वो उन दोनो का ये खेल भी देखना चाहती थी, जो खेलने के लिए दोनो अपने बेडरूम में गये थे...अब उसका दिमाग़ किसी जासूस की तरह चल रहा था,जो अपने शिकार की हर हरकत पर नज़र रखकर अपने अगले चरण की रूपरेखा बनाता है..
वो धीरे-2 चलती हुई उनके बेडरूम तक गयी, और हमेशा की तरह उनका दरवाजा सिर्फ़ बंद था, अंदर से लॉक नही.
और बीच के चीरे में से देखने पर उसे अंदर चल रही रास लीला पूरी तरह से दिखने लगी.
अजय ने प्राची के बूब्स को बाहर निकाल कर बुरी तरह से चूसना शुरू कर दिया था...और प्राची उसके बालों को पकड़कर उसके चेहरे को अपनी छातियों में उसे ऐसे घिस रही थी जैसे कोई खुजली मिटा रही हो..

अजय के हाथ हरकत में आए और उसने प्राची के गाउन को घुमाकर सिर से निकाल दिया.
और अब वो पूरी नंगी खड़ी थी अजय के सामने...

प्रेगनेंसी की वजह से हल्का सा पेट निकला हुआ था..बाकी सब पहले जैसा ही था.
अपनी बहन को ऐसे नंगा देखकर पूजा भी शरमाकर रह गयी...ये पहला मौका था जब उसने अपनी बहन को शादी के बाद ऐसे नंगा देखा था..शादी से पहले दोनों बहने अक्सर एक दूसरे के सामने कपड़े बदल लेती थी..पर उस समय दोनो ज़्यादा ध्यान नही देती थी एक दूसरे पर..
लेकिन उस वक़्त की प्राची और आज की प्राची में ज़मीन आसमान का फ़र्क आ चुका था..
उसके बूब्स पहले के मुक़ाबले काफ़ी बड़े और गोल हो चुके थे.

उसके निप्पल भी काफ़ी लंबे लग रहे थे पहले के मुक़ाबले...शायद खड़े होने की वजह से..
और उसकी गांड के तो क्या कहने...इतनी बाहर निकल चुकी थी की उसके गद्देदार होने का एहसास बाहर खड़ी पूजा को भी हो रहा था, क्योंकि वो ज़रा सी हिलती तो उसकी गांड की थिरकन दूर से ही दिखाई दे जाती...

और नीचे उसकी सफाचत और रसीली चूत, जिसमे से रस बहकर नीचे गिर रहा था , वो पहले से काफ़ी साफ़ सुथरी और बड़ी सी भी लग रही थी..

और शरीर के साथ -2 उसकी जांघे भी काफ़ी भर चुकी थी.
यानी कुल मिलाकर वो शादी के बाद पूरी तरह से खिल चुकी थी..
कली से फूल बन चुकी थी...
जिसपर जवानी का रंग बेमिसाल तरीके से चड़ा हुआ था.
पूजा सोचने लगी की क्या वो भी शादी के बाद ऐसी रसीली सी दिखने लगेगी...जब उसकी रोज चुदाई होगी...
और अगर उसने चुदाई पहले ही करनी शुरू कर दी तो....यानी उसके जीजू ने अगर उसकी चूत रोज इसी तरह से मारनी शुरू कर दी तो उसके जिस्म पर भी ऐसी जवानी की बहार आ जाएगी..
ये एहसास मिलते ही उसके बदन में सिहरन दौड़ गयी...और उसकी आँखो में लाल डोरे तैरने लगे.
पर अगले ही पल वो लाल डोरे और भी सुर्ख हो उठे,जब उसकी नज़र एक बार फिर से अजय के लंड पर गयी..
अजय भी अपने कपड़े निकाल कर नंगा हो चुका था, गुड लुकिंग तो वो था ही,उसका कसरती बदन देखकर पूजा की चूत में पानी की एक लकीर बाहर बह निकली...बिल्कुल पर्फेक्ट मेच था वो उसकी सेक्सी बहन के साथ...दोनो एक दूसरे को मात दे रहे थे..
एक ही दिन में दूसरी बार अपने जीजू के लंड के दर्शन करना कोई मामूली बात नही थी.
और उन्हे पूरा नंगा देखने का सोभाग्य उसे आज ही मिल जाएगा, ये भी उसने नही सोचा था.
उसकी नज़र जीजू के लंबे लॅंड के साथ-2 उनकी गांड पर भी थी...यानी अजय के चूतड़ों पर..जो काफ़ी आकर्षक लग रहे थे...उसने सोच लिया की वो जब भी अपने जीजू के साथ कुछ ऐसा - वैसा करेगी तो उनके गले से लगकर उनके चूतड़ ज़रूर दबाएगी. . ये शायद उसकी अनगिनत फैंटसी में से एक थी
पर अभी के लिए तो वो काम प्राची कर रही थी.
वो अजय को बेड के कोने पर बिठाकर खुद नीचे बैठ गयी और उसके खड़े हुए लंड को मुँह में लेकर जोरों से चूसने लगी.

अपनी बहन को अजय का लंड चूसते देखकर पूजा मुस्कुरा उठी...क्योंकि ये वही लंड था जो कुछ घंटे पहले उसके मुँह में था..और उसके इशारों पर नाच भी रहा था.
और साथ ही साथ पूजा अपनी बहन के लंड चूसने की प्रक्रिया देखकर दंग रह गयी...वो कितनी सफाई से और कितने अंदर तक अजय के लंड को निगल रही थी...एक तरह से देखा जाए तो कुछ नया सीखने को मिल रहा था आज पूजा को...और वो बड़े ही ध्यान से वो सब सीखने की कोशिश भी कर रही थी...क्योंकि आज नही तो कल उसे भी ऐसी कला का इस्तेमाल करके अपने पार्ट्नर को खुश करना पड़ेगा.
उसके दिमाग़ में एक बात आई की ये भी तो एक कला है जो लड़कियों को शादी से पहले सीखनी चाहिए...जैसे वो अपने ससुराल जाने से पहले खाना बनाना और दूसरे घरेलू काम सीखती है, उसी तरह ये काम भी सीखकर ही जाना चाहिए उन्हे, ताकि अपने जीवन का सबसे अहम धर्म ,यानी पति को खुश करने का काम, वो सही ढंग से निभा सके.
ये ख़याल आते ही उसे खुद ही अपनी सोच पर हँसी आ गयी.
अजय के लंड को चूसने के कुछ देर बाद दोनो ने अपनी सीट बदल ली...अब अजय ज़मीन पर घुटनो के बाल बैठा था और प्राची अपनी टांगे फेला कर उसके सामने लेटी हुई थी.

अजय की पेनी जीभ जैसे ही प्राची की चूत से टकराई, प्राची के साथ-2 पूजा के मुँह से भी सिसकारी निकल गयी...पूजा को तो ऐसा लगा की उसके जीजू की जीभ उसकी चूत को कुरेद रही है...उसने तुरंत अपनी चूत को अपने हाथों में दबोच लिया...जो इतनी गीली हो चुकी थी की उसे हाथ में लेते ही ऐसा लगा जैसे कोई चाशनी में डूबा कपड़ा निचोड़ दिया हो उसने...और नीचोड़ा गया गाड़ा रस उसकी उंगलियों से होता हुआ नीचे गिरने लगा.
cntd...........